Mumbai news:मुंबई में मेट्रो और वॉटर ट्रांसपोर्ट एमएमआर की ट्रैफिक समस्या करेगा कम,महाराष्ट्र बजट 2023 में मिला 424 करोड़
रिपोर्ट:अजय कुमार मिश्रा
मुंबई महाराष्ट्र:शिंदे सरकार ने गुरुवार को पेश किए अपने पहले महाराष्ट्र बजट में वॉटर ट्रांसपोर्ट पर विशेष जोर दिया है। जलमार्ग के जरिये यात्रियों का सफर आसान बनाने के लिए बजट में 586.2 करोड़ रुपये का प्रावधान किया गया है। एमएमआर की ट्रैफिक की समस्या को कम करने के लिए नए जलमार्ग तैयार करने की योजना तैयार की गई है। इसके तहत ठाणे से वसई के बीच वॉटर ट्रांसपोर्ट शुरू करने का फैसला लिया गया है। एमएमआर की रफ्तार बढ़ाने वाले इस प्रॉजेक्ट के लिए बजट में 424 करोड़ रुपये का प्रावधान किया गया है। बजट के जरिये सरकार ने गेट वे ऑफ इंडिया की जेट्टी की समस्या को भी हल करने प्रयास किया है।बजट में गेट वे ऑफ इंडिया स्थित रेडियो क्लब के पास जेट्टी तैयार करने व यात्री सुविधा विकसित करने का निर्णय लिया गया है। गेट वे ऑफ इंडिया से जल यातायात को बढ़ावा देने के लिए 162 करोड़, 20 लाख रुपये का प्रावधान किया गया है।गेट वे पर जेट्टी की कमी होने की वजह से वहां से नए रूट पर सेवाएं शुरू करने में प्रशासन को दिक्कत हो रही थी। जगह की कमी होने की वजह से डॉमेस्टिक क्रूज टर्मिनल से क्रूज सर्विस शुरू की गई थी। किंतु क्रूज टर्मिनल तक पहुंचने के लिए यातायात की पर्याप्त सुविधा न होने से यात्रियों का बेहद कम प्रतिसाद मिल रहा थानतीजतन कई कंपनियों को अपनी सेवाएं बंद करनी पड़ीं। रेडियो क्लब के पास बस सेवा अन्य सुविधाएं उपलब्ध होने से यात्री आसानी से जेट्टी तक पहुंच सकेंगे।वहीं अन्य रूट पर सेवाएं शुरू कर पाना संभव होगा। सरकार के अनुसार, ठाणे-वसई के बीच वॉटर ट्रांसपोर्ट और जेट्टी बनने से दक्षिण मुंबई से कल्याण, डोंबिवली, ठाणे, वसई, नवी मुंबई तक पहुंचना आसान हो जाएगा।वॉटर ट्रांसपोर्ट के साथ ही सरकार ने एमएमआर की मेट्रो परियोजनाओं का भी ख्याल रखा है। बजट में मेट्रो की तीन लाइनों के लिए 19,080 करोड़ रुपये का प्रावधान किया गया है। बजट में गायमुख-शिवाजी चौक (मीरा रोड) के बीच बनने वाले मेट्रो-10 कॉरिडोर के लिए 4,476 करोड़ रुपये का प्रावधान किया गया है। वडाला से छत्रपति शिवाजी महाराज टर्मिनस (सीएसएटी) के बीच बनने वाले मेट्रो-11 कॉरिडोर के लिए 8,739 करोड रुपये और कल्याण से तलोजा के बीच बनने वाले मेट्रो-12 कॉरिडोर के लिए 5,865 करोड़ रुपये आवंटित किए गए हैं। बता दें कि 2019 में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने मेट्रो की इन तीन परियोजनाओं की आधारशिला रखी थी। किंतु इन लाइनों का निर्माण कार्य अब तक शुरू नहीं हो पाया है।