Azamgarh news:राष्ट्रीय ग्रामीण आजीविका मिशन के मुद्दे पर विशेष कार्यक्रम का हुआआयोजन
आजीविका से हर पात्र को 2023-2024 तक अनिवार्य रूप जोड़ने का लक्ष्य- जिला मिशन मैनेजर रूद्र प्रताप सिंह
आजमगढ़ – रोजा संस्थान के तत्वाधान में आज़मगढ़ जिले के गोल्डन फॉर्चून होटल में राष्ट्रीय ग्रामीण आजीविका मिशन के मुद्दे पर इंटरफेस कार्यक्रम का आयोजन किया गया गया। जिसमें रोजा संस्थान के मुख्य कार्यकारी श्री मुश्ताक अहमद ने कार्यक्रम के उद्देश्य के बारे में जानकारी दिया और राष्ट्रीय ग्रामीण आजीविका मिशन के जिला मिशन मैनेजर रूद्र प्रताप सिंह जी के द्वारा राष्ट्रीय ग्रामीण आजीविका मिशन क्या है, इसका उद्देश्य क्या है, और इस मिशन में जुड़ने के लिए पात्रताएं हैँ साथ ही राष्ट्रीय ग्रामीण आजीविका मिशन के जिला मिशन मैनेजर ने बताया कि राष्ट्रीय ग्रामीण आजीविका मिशन भारत सरकार द्वारा कार्यान्वित एक गरीबी उन्मूलन परियोजना है यह योजना स्वरोजगार को बढ़ावा देने और ग्रामीण गरीबों के संगठन पर केंद्रित है। इस कार्यक्रम के पीछे का विचार गरीबों को एसएचजी (स्वयं सहायता समूह) समूहों में संगठित करना और उन्हें स्वरोजगार के लिए सक्षम बनाना है।
जिला मिशन मैनेजर ने आश्वाशन दिया की जिस गांव में भी लोग छूटे हुए हैँ उनको अप्रैल के अगले सप्ताह में अभियान चलाकर सेक डाटा आधार पर जोड़ दिया जाएगा।इसी क्रम में रोजा संस्थान के ब्लॉक समन्वयक अर्पित श्रीवास्तव ने पी0पी0टी0 के माध्यम से बताया की आजमगढ़ के तरवा ब्लॉक, मेहनगर ब्लॉक तथा जहानागंज के 10 ग्राम पंचायत में कुल 571 परिवार राष्ट्रीय ग्रामीण आजीविका से जुड़ पाए हैँ तथा 1673 परिवार अभी नहीं जुड़ पाए हैँ यह डाटा समुदाय से लिया गया । इस रिपोर्ट को DMM रूद्र प्रताप सिंह के साथ के साथ साझा कर अवगत कराया गया इस कार्यक्रम में चाइल्ड लाइन, समूह सखी, पंकज रमन, राजकुमार, अब्दुल, अवधेश, संध्या सिंह, पूजा देवी, सीमा चौहान, पंचायत सहायक साहिस्ता बानो आदि लोग उपस्थिति रहे।