सुप्रीम कोर्ट ने भवानी रेवन्ना की अग्रिम जमानत के खिलाफ याचिका पर नोटिस जारी किया

The Supreme Court issued notice on Bhawani Revanna's plea against advance bail

नई दिल्ली, 10 जुलाई: सुप्रीम कोर्ट ने बुधवार को कर्नाटक एसआईटी की ओर से दायर याचिका पर नोटिस जारी किया है। याचिका में सेक्स वीडियो मामले में मुख्य आरोपी प्रज्वल रेवन्ना की मां भवानी रेवन्ना को दी गई अग्रिम जमानत रद्द करने की मांग की गई थी।

जस्टिस सूर्यकांत और उज्ज्वल भुइयां की बेंच विशेष अनुमति याचिका की जांच करने के लिए सहमत हो गई। बेंच ने इस मामले में पूर्व प्रधानमंत्री देवगौड़ा की पुत्रवधू भवानी रेवन्ना से जवाब मांगा है।

बेंच ने एसआईटी का प्रतिनिधित्व कर रहे वरिष्ठ अधिवक्ता कपिल सिब्बल से प्रज्वल रेवन्ना की मां की भूमिका के बारे में सवाल किया। जवाब में कपिल सिब्बल ने कहा कि पीड़िता ने सीआरपीसी की धारा 164 के तहत दर्ज अपने बयान में उसके अपहरण में भवानी रेवन्ना की भूमिका का जिक्र किया है।

सुप्रीम कोर्ट ने कहा कि यह याचिका एक महिला की स्वतंत्रता से जुड़ी है। अपराध परीक्षण के दौरान निर्धारित किया जाना है। कोर्ट ने आगाह किया कि इस मामले का राजनीतिकरण नहीं किया जाना चाहिए।

बता दें कि कर्नाटक हाईकोर्ट ने 18 जून को सेक्स वीडियो कांड से जुड़े अपहरण मामले में भवानी रेवन्ना की अग्रिम जमानत याचिका मंजूर कर ली थी। अग्रिम जमानत देने की शर्त में जस्टिस कृष्ण एस दीक्षित की अध्यक्षता वाली बेंच ने मैसूर और हासन जिलों में उनके प्रवेश पर प्रतिबंध लगा दिया था।

अपहरण मामले में पीड़िता मैसूर जिले की रहने वाली है और हासन भवानी रेवन्ना का पैतृक जिला है। कर्नाटक हाईकोर्ट ने अपने आदेश में कहा कि भवानी रेवन्ना ने पुलिस की ओर से पूछे गए 85 सवालों के जवाब दे दिए हैं। इसलिए जांच में उनके असहयोग का तर्क मंजूर नहीं किया जा सकता।

मीडिया रिपोर्ट के अनुसार, इस समय भवानी रेवन्ना एक नौकरानी के अपहरण मामले में विशेष जांच दल (एसआईटी) के सामने पेश हो रही हैं। आरोप है कि प्रज्वल रेवन्ना ने इसका भी यौन शोषण किया ।

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