भदोही:कुरआन सिखाता है हमें जीवन जीने का सलीका
मदीना मस्जिद में हाफिज साहिल ने मुकम्मल कराई नमाज-ए-तरावीह

रिपोर्ट: सुपर फास्ट टाइम्स
भदोही। मुकद्दस माह-ए-रमजान में पढ़ी जाने वाली विशेष नमाज तरावीह के मुकम्मल होने का सिलसिला शुरु हो गया है। नगर के पीरखांपुर मोहल्ले में स्थित मदीना मस्जिद में शुक्रवार को तरावीह मुकम्मल हुई। हाफिज साहिल ने तरावीह मुकम्मल कराई। उसके बाद मुक्तदियों ने उनको फूल माला से लादकर इस्तकबाल किया। वही बारगाहे परवरदिगार में दोनों हाथों को फैलाकर दुआ मांगी।इस दौरान मौलाना अब्दुस्समद जियाई ने कहा कि अल्लाह ने कुरआन के रुप में हमलोगों को बहुत ही बड़ी नेमत दी है। कुरआन हमें जिंदगी जीने का सलीका सिखाता है। कुरआन को पढ़ने और सुनने वाला अल्लाह के नजदीक मओतबर हुआ करता है। उन्होंने कहा कि कुरआन के सूरह-अल-फातिहा का जिक्र करते हुए कहा कि अल्लाह रब्बुल इज्जत ने सूरह-अल-फातिहा में पूरे कुरान-ए-पाक को उतार दिया। जिसमें 6 टापिक है। मौलाना अब्दुस्समद जियाई ने उन 6 टापिक पर तफ्सील से बयान किया।अंत में उन्होंने बारगाहे परवरदिगार में दोनो हाथों को फैलाकर आलम-ए-इस्लाम, मुल्क की सलामती, तरक्की, खुशहाली, जो परेशान-ए-हाल, जो बीमार-ए-हाल है। उनके द्वारा दुआएं मांगी गई।इस मौके पर सगीर अंसारी, मो.फिरोज खां, इजहार अंसारी, इरशाद अंसारी, जावेद अहमद, जावेद अंसारी, शादाब अंसारी, इम्तियाज अंसारी व इश्तियाक अंसारी आदि प्रमुख रूप से मौजूद रहें।चित्र परिचय: तकरीर करते मौलाना अब्दुस्समद जियाई।


