DPIFF ने विश्व मंच पर भारतीय कला और संस्कृति को दिया नया मंदिर

दादा साहब फाल्के इंटरनेशनल फिल्म फेस्टिवल: भारतीय सिनेमा का गौरवपूर्ण मंदिर

दादा साहब फाल्के इंटरनेशनल फिल्म फेस्टिवल को अंतरराष्ट्रीय मंच तक पहुँचाने में शशि शर्मा और अनिल मिश्रा की ऐतिहासिक भूमिका

शशि शर्मा-अनिल मिश्रा की जोड़ी ने DPIFF को बनाया विश्व सिनेमा का नया केंद्र

इटली से भारत तक, भारतीय सिनेमा की गूंज: अनिल मिश्रा और शशि शर्मा के नेतृत्व में DPIFF की अंतरराष्ट्रीय उड़ान

शशि शर्मा और अनिल मिश्रा की दूरदृष्टि से DPIFF बना भारतीय युवाओं की वैश्विक पहचान का मंच

 नई दिल्ली:दादा साहब फाल्के इंटरनेशनल फिल्म फेस्टिवल को आज जो अंतरराष्ट्रीय पहचान प्राप्त हुई है, उसके पीछे इटली के प्रतिष्ठित बिजनेसमैन, फैशन डिजाइनर और टी-शर्ट कंपनी के मालिक शशि शर्मा तथा अनिल मिश्रा की अथक मेहनत, संघर्ष और समर्पण की अहम भूमिका रही है। दोनों ही व्यक्तित्व दिन-रात मेहनत करते हुए इस फिल्म फेस्टिवल को विश्व मंच पर स्थापित करने में जुटे रहे हैं।विश्व के विभिन्न मंचों पर दादा साहब फाल्के इंटरनेशनल फिल्म फेस्टिवल को जो सम्मान और पहचान मिल रही है, वह शशि शर्माऔर अनिल मिश्रा की वर्षों की मेहनत का परिणाम है। उनके संयुक्त प्रयासों से आज यह फिल्म फेस्टिवल एक अंतरराष्ट्रीय प्लेटफॉर्म बन चुका है, जो देश-विदेश के युवाओं को अपनी प्रतिभा दिखाने का सुनहरा अवसर प्रदान कर रहा है।शशि शर्माअनिल मिश्रा के बेहद करीबी माने जाते हैं और दादा साहब फाल्के इंटरनेशनल फिल्म फेस्टिवल के गार्जियन और मालिक के रूप में उन्हें वैश्विक स्तर पर जाना जाता है। उनकी दूरदृष्टि, नेतृत्व क्षमता और निरंतर प्रयासों ने इस प्रतिष्ठित फिल्म फेस्टिवल को विश्व मंच पर एक नई पहचान दिलाई है। वहीं अनिल मिश्रा का मार्गदर्शन, संघर्ष और सहयोग इस सफलता की मजबूत नींव साबित हुआ है।शशि शर्मा न केवल एक सफल उद्योगपति और फैशन डिजाइनर हैं, बल्कि एक बड़े समाजसेवी भी हैं। वे दिन-रात गरीबों, जरूरतमंदों और समाज के कमजोर वर्ग के उत्थान के लिए सोचते और कार्य करते रहते हैं। इसी वजह से वे भारतीयों, विशेषकर युवाओं, के दिलों की धड़कन बन चुके हैं।अनिल मिश्रा ने बताया कि शशि शर्मा भारतीय युवाओं और भारतीय संस्कृति के संरक्षण और प्रचार के लिए हमेशा चिंतित रहते हैं। उन्होंने कहा कि शशि कुमार की मेहनत, सकारात्मक सोच और समर्पण के कारण ही दादा साहब फाल्के इंटरनेशनल फिल्म फेस्टिवल आज विश्व स्तर पर एक बड़ा और सम्मानित मंच बन सका है,शशि शर्मा और अनिल मिश्रा का यह संघर्ष और योगदान आने वाले समय में भी प्रेरणादायक रहेगा और भारतीय सिनेमा व संस्कृति को वैश्विक पहचान दिलाने में मील का पत्थर साबित होगा। गौरतलब हो कि दादा साहब फाल्के इंटरनेशनल फिल्म फेस्टिवल: भारतीय सिनेमा और संस्कृति को वैश्विक मंच पर नई पहचान,दादा साहब फाल्के इंटरनेशनल फिल्म फेस्टिवल, शशि कुमार और अनिल मिश्रा के कुशल नेतृत्व में, आज भारतीय सिनेमा, संस्कृति और कलाकारों की विरासत को विश्व के कोने-कोने तक पहुँचाने का सराहनीय कार्य कर रहा है। दादा साहब फाल्के इंटरनेशनल फिल्म फेस्टिवल निरंतर भारतीय युवाओं और कलाकारों को अंतरराष्ट्रीय मंच प्रदान कर भारत की समृद्ध सांस्कृतिक पहचान को वैश्विक स्तर पर गौरवान्वित कर रहा है।दादा साहब फाल्के इंटरनेशनल फिल्म फेस्टिवल (DPIFF) के माध्यम से भारतीय सिनेमा ने विश्व पटल पर अपनी सशक्त उपस्थिति दर्ज कराई है। DPIFF न केवल भारतीय कलाकारों की प्रतिभा को दुनिया के सामने ला रहा है, बल्कि युवा पीढ़ी को अवसर देकर उन्हें वैश्विक पहचान भी दिला रहा है। यह मंच भारतीय सिनेमा की विरासत, रचनात्मक उत्कृष्टता और सांस्कृतिक मूल्यों का सशक्त प्रतिनिधित्व बन चुका है।दादा दादा साहब फाल्के इंटरनेशनल फिल्म फेस्टिवल के एडी अनिल मिश्रा और उनकी समर्पित टीम की अथक मेहनत,लगन और दूरदृष्टि के परिणामस्वरूप आज ट्रस्ट भारतीय कलाकारों, युवाओं और संस्कृति को अंतरराष्ट्रीय स्तर पर स्थापित करने के लिए मजबूती से कार्य कर रहा है।ट्रस्ट का उद्देश्य केवल सिनेमा तक सीमित नहीं है, बल्कि भारतीय संस्कृति, संस्कार और कला को वैश्विक स्तर पर सम्मान दिलाना भी है।DPIFF 2026 के माध्यम से दादा साहब फाल्के इंटरनेशनल फिल्म फेस्टिवल ट्रस्ट भारत, दुबई, इटली, यूनाइटेड किंगडम और यूनाइटेड स्टेट्स ऑफ अमेरिका के बीच सिनेमा, पर्यटन और सांस्कृतिक मैत्री को और अधिक सुदृढ़ करने की दिशा में कार्य कर रहा है। यह प्रयास न केवल सांस्कृतिक आदान-प्रदान को बढ़ावा देगा, बल्कि भारतीय सिनेमा और कलाकारों के लिए नए वैश्विक अवसर भी सृजित करेगा।निस्संदेह, दादा साहब फाल्के इंटरनेशनल फिल्म फेस्टिवल आज भारतीय युवाओं,कलाकारों और संस्कृति के लिए एक सशक्त स्तंभ बनकर उभरा है,जो भारत की कला और सिनेमा की गौरवशाली विरासत को विश्व मंच पर नई ऊँचाइयों तक पहुँचा रहा है।

Related Articles

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *

Back to top button