गलसुआ/कण्ठमाला वायरल इन्फेक्शन है – डा.बी.के.यादव जनरल फिजिशियन जखनियां

रिपोर्ट सुरेश पांडे

ज़खनिया गाज़ीपुर।इस समय गलसुआ की समस्या देखने को मिल रहा है, इसके सन्दर्भ में जानकारी लेने के लिए जखनियां स्थित डा.बी.के.यादव से मुलाकात किया गया, गलसुआ के विषय में जानकारी लेने पर उन्होंने कहा कि यह एक RNA वायरल संक्रमित रोग है,जो ज्यादा 5 से 15 बर्ष ग्रुप के बच्चों में होता है ,बड़े लोगों को भी हो सकता है ,यह नवजात शिशु को नहीं होता है क्योंकि नवजात शिशु में ट्रांसप्लासेंटल एन्टीबाडी रहती है।
यह ज्यादा ठंड और बसंत ऋतु में अधिक होता है
यह वायरस लार ग्रंथियों और तंत्रिका तंत्र को प्रभावित करता है, यह ब्रेस्ट,लिबर , जोड़ को भी प्रभावित कर सकता है
यह एक व्यक्ति से दुसरे व्यक्ति में सीधे स्पर्श,एयर डापलेट से फ़ैल सकता है
गलसुआ के लक्षण में एक तरफ या दोनों तरफ के पैरोटिड ग्रंथि में सुजन दर्द, बुखार, शरीर में दर्द,सिर दर्द इसके अलावा कान में दर्द, जबड़े में दर्द,मुंह का सुखना इत्यादि हो सकता है
बड़े बच्चों में गलसुआ होने के 1या 2 सप्ताह बाद आर्काइटिस हो सकता है जिसमें बृषण की साइज़ बड़ा हो जाता है और दर्द होता है
गलसुआ के लक्षण मिले तो नजदीक के डाक्टर को दिखाएं, लक्षणानुसार इसकी चिकित्सा की जाती है
देश में इसके सन्दर्भ में गलत भ्रांतियां हैं जिसमें झाड़ फूंक कराते हैं , कॉम्प्लिकेशन से बचने के लिए ऐसा न करें।डा.बी.के.यादव जनरल फिजिशियन
जखनियां गाजीपुर

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