भागवत ज्ञान कथा यज्ञ में श्री कृष्ण जन्मोत्सव की कथा।
रिपोर्ट :विनय मिश्रा
देवरिया।बढ़ा तहसील क्षेत्र के अंतर्गत ग्राम अमाव बड़का गांव में चल रहे श्रीमद् भागवत कथा के चौथे दिन कथा व्यास धनंजय कृष्ण शास्त्री ने भगवान श्री कृष्ण के जन्म उत्सव के कथा को विस्तार से बताया उन्होंने कहा कि कंस अपनी बहन देवकी को वासुदेव जी के साथ विवाह के बाद पहचाने जा रहा था की आकाशवाणी हुई जी बहन को इतनी प्यार से ले जा रहे हो उसी की आठवीं संतान से तुम्हारा वध होगा। या सुन या सुनकर वसुदेव देवकी को कंस ने कारागार में डाल दिया ।और जब-जब देवकी से संताने उत्पन्न हुई कंस ने उनसे मार डाला। अब समय आया जब देवकी के गर्भ से भगवान कृष्ण का जन्म हुआ। जन्म के समय सारे पहरेदार सो गए बेड़ी और हथकड़ी हाथों से वसुदेव देवकी के खुल गए पहरेदार सो गए। और वासुदेव जी ने बालक कृष्ण को नंद और यशोदा के घर पहुंचा दिया। कथा के मुख्य यजमान पारस मिश्र ध्रुव नारायण मिश्र एवं कुंती देवी रही। कथा के दौरान उमेश चंद्र मिश्र, नामदेव मिश्र, दिनेश मिश्रा ,महेश्वर मिश्र, रघुपति मिश्रा, विश्वामित्र मिश्रा, अंकित मिश्रा, अंकुर शिवम, शशांक, अक्षत, सत्यम एवं समस्त मित्र परिवार के साथ-साथ अन्य श्रद्धालु श्रोतागण उपस्थित रहे।