धर्मेंद्र प्रधान ने युवाओं में बढ़ती बेरोजगारी को लेकर विपक्षी शासित राज्यों की आलोचना की
Dharmendra Pradhan criticized opposition-ruled states over rising unemployment among youth
नई दिल्ली:। केंद्रीय मंत्री धर्मेंद्र प्रधान ने विपक्षी शासित राज्यों में बेरोजगारी, खासकर युवाओं के बीच बढ़ती बेरोजगारी को रोकने में विफलता के लिए सवाल उठाया। उन्होंने बताया कि भाजपा शासित राज्यों ने रोजगार के अवसरों से जुड़े मामलों को हल करने में कैसे सक्रिय भूमिका निभाई है।
धर्मेंद्र प्रधान ने जुलाई 2023 से जून 2024 की अवधि के लिए पीरियोडिक लेबर फोर्स सर्वे (पीएलएफएस) के आंकड़ों का हवाला देते हुए विपक्षी दलों के नेतृत्व वाले राज्यों में रोजगार सृजन में स्पष्ट असमानताओं की ओर ध्यान आकर्षित किया।
सर्वे के अनुसार, विपक्षी शासित केरल में युवा बेरोजगारी की दर देश में सबसे अधिक है, जिसमें 15-29 आयु वर्ग में कुल बेरोजगारी की दर 29.9 प्रतिशत दर्ज की गई है। केरल में लैंगिक असमानता एक प्रमुख चिंताजनक मुद्दा बनकर उभरी है, जहां 47.1 प्रतिशत महिलाएं और 17.8 प्रतिशत पुरुष बेरोजगार हैं।
धर्मेंद्र प्रधान ने कहा, “युवाओं से उनका भविष्य छीना जा रहा है, खासकर युवतियों से। इन्हें उनकी अपनी ही सरकारों ने ही छोड़ दिया है। ये राज्य अपने ही गलत प्रबंधन और भ्रष्टाचार के बोझ तले दब रहे हैं।”
उन्होंने विपक्षी शासित राज्यों में ‘शासन विफलताओं’ के कई रिपोर्टों का हवाला देते हुए कहा कि ये विफलताएं नौकरी संकट और वित्तीय प्रबंधन में असफलता का कारण बन रही हैं। केंद्रीय मंत्री ने विपक्षी शासित राज्यों को लोकलुभावन वादों और मुफ्त सुविधाओं पर बेवजह खर्च करने के लिए कड़ी फटकार लगाई। उन्होंने कहा कि ये जनकल्याणकारी उपाय इन राज्यों की अर्थव्यवस्थाओं को वित्तीय पतन की ओर ले जा रहे हैं।
धर्मेंद्र प्रधान ने कहा, ”विपक्ष खोखले वादों से वोट खरीदने में व्यस्त है और अपने राज्यों को अनंत कर्ज में धकेल रहा है, उनके युवा इसकी कीमत चुका रहे हैं। यह एक अपमानजनक विश्वासघात है। उन्होंने आरोप लगाया कि ये सरकारें न केवल अक्षम हैं, बल्कि खतरनाक भी हैं।”
केंद्रीय मंत्री ने भाजपा शासित राज्यों की नीतियों का भी उल्लेख किया और बताया कि वहां शासन और आर्थिक प्रबंधन कैसे स्थिर है। उन्होंने कहा, “मध्य प्रदेश और गुजरात जैसे राज्यों ने युवा बेरोजगारी को सफलतापूर्वक नियंत्रण में रखा है। मध्य प्रदेश में सिर्फ 2.6 प्रतिशत और गुजरात में 3.3 प्रतिशत बेरोजगारी दर्ज की गई है।”
उन्होंने भाजपा शासित राज्यों की रोजगार सृजन और ठोस राजकोषीय नीतियों पर ध्यान केंद्रित करने पर भी जोर दिया।
धर्मेंद्र प्रधान ने कहा, “भाजपा युवाओं को सशक्त बनाने और रोजगार सृजन के लिए प्रतिबद्ध है। वहीं विपक्ष गलत प्रबंधन और अधूरे वादों में फंसा हुआ है। अब समय आ गया है कि इन राज्यों के लोगों को जवाबदेही की मांग करनी चाहिए और ऐसे नेतृत्व की ओर देखना चाहिए जो परिणाम ला सके।”