भारत में वित्त वर्ष 14 से 23 के बीच पैदा हुए 12.5 करोड़ नए रोजगार : एसबीआई रिपोर्ट
12.5 crore new jobs created in India between FY14 and FY23: SBI report
मुंबई:भारत में वित्त वर्ष 14 से लेकर वित्त वर्ष 23 के बीच 12.5 करोड़ रोजगार के अवसर पैदा हुए हैं, जो कि वित्त वर्ष 4 से वित्त वर्ष 14 के मुकाबले 4.3 गुना ज्यादा है। भारतीय स्टेट बैंक की रिपोर्ट से यह जानकारी मिली है।
रिपोर्ट में बताया गया कि भारतीय रिजर्व बैंक (आरबीआई) के दशकीय नियुक्तियों के आंकड़े को देखा जाए तो वित्त वर्ष 14 से 23 के बीच 12.5 करोड़ नौकरियां पैदा हुईं, जबकि वित्त वर्ष 4 से लेकर वित्त वर्ष 14 के बीच यह आंकड़ा 2.9 करोड़ पर था। अगर कृषि से जुड़े रोजगार को अलग कर दिया जाए तो वित्त वर्ष 14 से वित्त वर्ष 23 के बीच मैन्युफैक्चरिंग और सर्विस सेक्टर में 8.9 करोड़ रोजगार पैदा हुए। वहीं, वित्त वर्ष 4 से वित्त वर्ष 14 के बीच 6.6 करोड़ नए रोजगार के अवसर पैदा हुए।
रिपोर्ट में आगे कहा गया है कि एमएसएमई मंत्रालय के पास पंजीकृत सूक्ष्म, लघु और मध्यम एंटरप्राइजेज (एमएसएमई) में रोजगार का आंकड़ा 20 करोड़ को पार कर गया है।
एमएसएमई मंत्रालय के उद्यम पोर्टल पर 4 जुलाई तक के आंकड़े के अनुसार, 4.68 करोड़ पंजीकृत एमएसएमई में 20.20 करोड़ लोगों को रोजगार मिल रहा है। इसमें से 2.3 करोड़ नौकरियां जीएसटी (गुड्स एंड सर्विसेज टैक्स) से छूट वाले अनौपचारिक सूक्ष्म इकाइयों में मिल रहा है। एमएसएमई में पिछले साल जुलाई के मुकाबले नौकरियों में 66 प्रतिशत का इजाफा हुआ है।
एसबीआई के मुख्य आर्थिक सलाहकार, सौम्य कांति घोष ने कहा कि ईपीएफओ और आरबीआई के केएलईएमएस (कैपिटल/के, लेबर/एल, एनर्जी/ई, मटेरियल/एम और सर्विसेज/एस) डेटा की तुलना करने पर एक काफी अच्छा ट्रेंड निकल कर आ रहा है। ईपीएफओ का डेटा जो कि कम आय की नौकरियों के डेटा को संकलित करता है, उसका शेयर नौकरियों में घटकर वित्त वर्ष 24 में 28 प्रतिशत रह गया है, जो कि पिछले 5 वर्ष की अवधि (वित्त वर्ष 19 से लेकर वित्त वर्ष 23) में औसत 51 प्रतिशत था। यह दिखाता है कि लोगों को आसानी से अच्छी नौकरियां मिल रही हैं।
रिपोर्ट में यह भी बताया गया कि सरकार द्वारा इंफ्रास्ट्रक्चर पर फोकस किए जाने के कारण कंस्ट्रक्शन सेक्टर में रोजगार के अवसर में काफी इजाफा हुआ है।