MauNews:ग्रामिणपत्रकारएसोसिएशन की घोसी मे हुई बैठक में सम्मानित हुए वरिष्ठ पत्रकार हुए,संगठन की मजबूती पर जोर।

Ghosi. Mau. A journalist seminar and felicitation ceremony for senior journalists was organized under the aegis of the Rural Journalists Association in the Ghosi Tehsil Auditorium on Sunday.

घोसी।मऊ। घोसी तहसील सभागार में रविवार को ग्रामीणपत्रकार एसोसिएशन के तत्वावधान में पत्रकार विचार गोष्ठी एवं वरिष्ठ पत्रकारो का सम्मान समारोह का आयोजन किया गया। जिसमें घोसी क्षेत्र के वरिष्ठ पत्रकारों के साथ जिलाअध्यक्ष एवं अतिथियों को अंगवस्त्र देकर एवं माल्यार्पण कर सम्मानित किया गया । कार्यक्रम की अध्यक्षता जिलाध्यक्ष हरिद्वार राय ने की, जबकि संचालन वरिष्ठ पत्रकार सुदर्शन कुमार ने किया।
इस अवसर पर जिलाध्यक्ष हरिद्वार राय,पूर्वजिलाध्यक्ष डा सीबी आर्य,जिलामहामंत्री अशोकश्रीवास्तव,प्रदीपसिंह, उपाध्यक्ष वेदप्रकाशपांडेय, दीनानाथ दुबे, के साथ आंनदगुप्ता, प्रवीणराय, रंजीतराय,अरुणपांडेय आदि को अंगवस्त्र, मालापहना कर सम्मानित किया गया।
गोष्ठी का मुख्य विषय “ग्रामीण पत्रकारिता जोखिम भरा कार्य” रहा। इस दौरान वक्ताओं ने ग्रामीण अंचल में पत्रकारिता की चुनौतियों, दिक्कतों और जिम्मेदारियों पर विस्तार से चर्चा की। जिलाध्यक्ष हरिद्वार राय ने अपने संबोधन में कहा कि ग्रामीण पत्रकारिता का कार्य वास्तव में संघर्ष और जोखिम से भरा हुआ है। सीमित संसाधनों और तमाम दबावों के बीच ग्रामीण पत्रकार अपनी जिम्मेदारियों का निर्वहन करते हैं। उन्होंने कहा कि पत्रकारिता का मूल उद्देश्य सच को सामने लाना है और इस कार्य को ईमानदारी से करना ही सच्ची पत्रकारिता है।
पत्रकार दीनानाथदुबे,प्रदीपसिंह, अशोकश्रीवास्तव,अरविन्दराय, सुदर्शनकुमार, अरुणपांडेय, वीरेंद्र उपाध्याय,सन्नुआजमी,आनंद गुप्ता, प्रवीणराय आदि वक्ताओं ने कहा कि ग्रामीण पत्रकारिता में समस्याएँ शहरी पत्रकारिता की तुलना में कहीं अधिक हैं। फिर भी निष्पक्ष पत्रकारिता होनी चाहिए।गाँव-कस्बों में पत्रकारों को सुविधाएँ नहीं मिल पातीं, वहीं स्थानीय स्तर पर दबाव और खतरे भी अधिक रहते हैं। इसके बावजूद ग्रामीण पत्रकार अपनी जिम्मेदारी निभाते हुए समाज और प्रशासन के बीच सेतु का कार्य करते हैं।
कार्यक्रम में जिले के वरिष्ठ एवं युवा पत्रकारों की गरिमामयी उपस्थिति रही। जिनमें आनंद गुप्ता, अशोक श्रीवास्तव, प्रदीप सिंह, रंजीत राय, वेद प्रकाश पांडेय, अरविंद राय, शन्नू आज़मी, दीना नाथ दुबे, गूँजन राय, रूपेंद्र भारती, अनिल मिश्रा, दीपक गुप्ता, पवन उपाध्याय, विनीत राय, वीरेन्द्र उपाध्याय, अरुण राय, वाचस्पति उपाध्याय, अरुण पांडेय, प्रवीण राय, शाहिद और विमल राय शामिल रहे।संचालन सुदर्शनकुमार एवं सबके प्रतिआभार संयोजक प्रदीपराय ने किया।
गोष्ठी के अंत में यह निष्कर्ष निकला कि ग्रामीण पत्रकारों को संगठित होकर अपने अधिकारों के लिए आवाज उठानी चाहिए। साथ ही, पत्रकारिता को व्यवसाय नहीं बल्कि समाज सेवा मानकर कार्य करना ही सच्चे अर्थों में कलम की ताकत को बनाए रखेगा।

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