घर में घुसकर 90 वर्षीय महिला की गला रेत कर हत्या

रिर्पोट: मोहम्मद राजिक शेख 

उत्तर प्रदेश की राजधानी लखनऊ के त्रिवेणीनगर के योगीनगर इलाके में रविवार को घर में घुसकर फोरेंसिक लैब के रिटायर्ड डिप्टी डायरेक्टर मुकेश चंद्र शर्मा की 90 वर्षीय मां स्नेहलता की गला रेतकर हत्या कर दी गई। वह घर पर अकेली रहती थीं। घटनास्थल से लूट के कोई साक्ष्य पुलिस को नहीं मिले। पुलिस का मानना है कि वारदात करने वाले का इरादा स्नेहलता को मारना था। अब तक की तफ्तीश में जो कुछ सामने आया है उससे पुलिस का मानना है कि वारदात में कोई करीबी शामिल है।मुकेश चंद्र शर्मा स्नेहलता के तीसरे नंबर के बेटे हैं। वह जानकीपुरम में रहते हैं। वही उनकी देखरेख करने आते-जाते रहते थे। नवरात्र के पहले दिन रविवार को भी मुकेश सुबह करीब 11 बजे मां को फल आदि देने गए थे। करीब एक घंटे तक वहां रुकने के बाद वह वापस चले गए थे। रात करीब पौने आठ बजे स्नेहलता की लुधियाना निवासी पोती ने उनके पड़ोसी देवेंद्र को फोन किया। उसने बताया कि वह काफी वक्त से दादी को कॉल कर रही हैं, लेकिन रिसीव नहीं हो रही है। इस पर देवेंद्र अपनी छत से कूदकर स्नेहलता के मकान की छत पर गए। जाल से जब नीचे झांक कर देखा तो स्नेहलता आंगन में खून से लथपथ पड़ी दिखीं। पड़ोसियों की सूचना पर उनके बेटे व अन्य परिजन पहुंचे। इसके बाद पुलिस को जानकारी दी गई। पुलिस आसपास लगे सीसीटीवी कैमरों के फुटेज खंगाल रही है।जब पुलिस व परिजन पहुंचे तो घर का दरवाजा खुला था। फोरेंसिक टीम ने भी जांच पड़ताल की। डीसीपी नॉर्थ एसएम कासिम ने बताया कि अब तक की जांच में एक बात तो साफ है कि लूट नहीं हुई है। पूरा सामान व्यवस्थित रखा है। बेटे मुकेश ने भी बताया है कि कुछ भी गायब नहीं है। मतलब वारदात करने वाले का मकसद सिर्फ स्नेहलता को मारना था।मकान के मुख्य गेट पर एक तरह से दो दरवाजे लगे हैं। पहला सामान्य, दूसरा लोहे का जाली वाला दरवाजा लगा है। सुरक्षा की नजरिये से ये दरवाजे लगाए गए हैं। मुकेश ने बताया कि उनकी मां कभी भी किसी के आवाज लगाने पर दरवाजा नहीं खोलती थीं। पहले उनको कॉल करना पड़ता था। तब वह बाहर आती थीं। तस्दीक कर लेती थीं कि आने वाला रिश्तेदार या परिचित है, तभी दरवाजा खोलती थीं। पर दरवाजा जबरन खुलवाए जाने के साक्ष्य नहीं मिले हैं। इसलिए भी बेहद करीबी पर शक है।स्नेहलता का एक पोता दो-तीन दिनों से उनके घर पर रुका था। वारदात के बाद वह लापता हो गया। मोबाइल भी बंद कर लिया था। परिजन को फोन कर आखिरी बार उसने बताया था कि नौकरी के सिलसिले में रुद्रपुर जा रहा है। आधी रात को वह नशे में धुत नाका इलाके में घूमता मिला। पुलिस उससे पूछताछ कर रही है। अब तक की जांच में उस पर शक गहरा रहा है स्नेहलता के पति कैलाश का निधन हो चुका है। उनके चार बेटे हैं। सबसे बड़े बेटे रमेश चंद्र लंदन में परिवार के साथ रहते हैं। दूसरे नंबर के बेटे आलोक और सबसे छोटे बेटे महेश चंद्र शर्मा सिधौली में परिवार समेत रहते हैं। तीसरे नंबर वाले मुकेश चंद्र जानकीपुरम में रहते हैं। पुलिस के मुताबिक महेश का लड़का मानस पिछले दो दिनों से दादी के पास रहा था। जब रविवार सुबह करीब 11 बजे मुकेश वहां गए थे तो भी वह वहीं पर था। पर, जब रात में वारदात की जानकारी पर परिजन पहुंचे तो मानस गायब था। फोन पर संपर्क करने का प्रयास किया गया तो वह बंद मिला। डीसीपी नॉर्थ एसएम कासिम ने बताया कि दोपहर करीब तीन बजे मानस के वहां से जाने की बात सामने आई। रात में वह जब मिला तो शराब के नशे में धुत था। पूछताछ की जा रही है।पुलिस सूत्रों के मुताबिक कुछ ऐसे सुबूत सामने आए हैं, उससे अंदेशा है कि मानस ने वारदात को अंजाम दिया है। लेकिन, पूछताछ में वह बातों को घुमाता रहा। यहां तक कि उसका व्यवहार ऐसा था जैसे वह साइको टाइप हो। डीसीपी ने बताया कि गहनता से तफ्तीश की जा रही है। पुलिस पता कर रही है कि हत्या की वजह क्या है। इसका जवाब मिलने के बाद पुलिस वारदात का खुलासा करेगी। आशंका है कि अचानक हुए विवाद की वजह से घटना की। या फिर संपत्ति आदि का कोई विवाद है। इन पहलुओ पर जांच जारी है।स्नेहलता की गर्दन दो जगह से रेती गई थी। बाएं व दायीं तरफ। मौके से चाकू आदि कोई भी आलाकत्ल बरामद नहीं हुआ। आशंका है कि वारदात को अंजाम देने के बाद आरोपी ही आलाकत्ल लेकर फरार हो गया।

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