तानाशाही का चेहरा उजागर पुलिस वाली भाजपा सरकार की गुलाम

Jabalpur: The face of dictatorship is exposed, the police is a slave of the BJP government

जबलपुर:”झूठी एफआईआर, शांतिपूर्ण प्रदर्शन पर गिरफ्तारी और लोकतंत्र का गला घोंटने वाली भाजपा सरकार के विरुद्ध कांग्रेस का प्रतिकार”

आज आयोजित इस पत्रकार वालों के माध्यम से हम प्रदेश की जनता और मीडिया के साथियों को यह बताना चाहते हैं कि लोकतंत्र की नींव पर हो रहे इस सीधे हमले को कांग्रेस चुपचाप नहीं सहेगी।
प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष माननीय जीतू पटवारी जी पर दर्ज झूठी एफआईआर के विरोध में अब शहर कांग्रेस के नेतृत्व में कांग्रेसजन आज एसपी कार्यालय ज्ञापन देने पहुँचे, तब एसपी में मिलने से स्पष्ट इनकार कर दिया – अबकि वे कायर्यालय में ही उपस्थित थे। यह लोकतांत्रिक मर्यादाओं का घोर अपमान है।
लोकतंत्र में जितनी भूमिका सत्ता पक्ष की होती है, उतनी ही महत्वपूर्ण जिम्मेदारी विपक्ष की भी होती है – यही संतुलन लोकतंत्र की जीवंत बनाए रखता है। लेकिन दुर्भाग्यपूर्ण है कि जबलपुर के एसपी इस मूलभूत सिद्धांत को नहीं समझ पाए। उन्होंने न केवल कांग्रेसजनों से मिलने से इनकार किया, बल्कि शांतिपूर्ण ज्ञापन लेने से भी कतराते रहे। यह उनका तानाशाही और पक्षपातपूर्ण रवैया दर्शाता है।

कांग्रेस कार्यकर्ता “रघुपति राघव राजा राम” जैसे भजन गाते हुए शांतिपूर्ण धरने पर बैठे थे, लेकिन भाजपा सरकार की बौखलाहट इतनी बढ़ गई कि पुलिस ने बलपूर्वक सभी को गिरफ्तार कर सिविल लाइन थाने भेज दिया और उन पर झूठे प्रकरण दर्ज कर दिए।

इसके विरोध में कांग्रेसजनों ने थाने के बाहर प्रदर्शन कर एसपी का पुतला दहन किया और आईजी को ज्ञापन सौंपकर निष्पक्ष न्याय की माँग की।
कांग्रेस का स्पष्ट कहना है:
> “एसपी जबलपुर ने आज यह सिद्ध कर दिया कि वे जनता के सेवक नहीं, भाजपा के सेवक हैं।
> सत्ता की गुलामी में डूबे ऐसे अफसरों को कांग्रेस बख्शेगी नहीं।
> यदि प्रशासन जनता की नहीं, सत्ता की भाषा बोलेगा तो कांग्रेस उसे सड़कों पर बेनकाब करती रहेगी।
> अब यह लड़ाई आर-पार की होगी लोकतंत्र बचेगा-पुलिस अधीक्षक की तानाशाही समाप्त होगी।”

बाइट सौरभ नाटी शर्मा

जबलपुर से वाजिद खान की रिपोर्ट

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