स्कूल में दो घंटे बंद रही छात्रा,प्रधानाध्यापक निलंबित,बीएसए ने सात शिक्षकों समेत 8 का रोका वेतन
उत्तर प्रदेश के जौनपुर में प्राइमरी स्कूल के शिक्षकों की बड़ी लापरवाही सामने आई है. पूरा स्टाफ चला गया और पहली कक्षा की एक छात्रा स्कूल के कमरे में ही रह गई. जानें कैसे परिवार वालों को बच्ची मिली.
उत्तर प्रदेश के जौनपुर में सरकारी शिक्षकों की एक बड़ी लापरवाही का मामला सामने आया है। अध्यपकों की लापरवाही के कारण एक बच्ची दो घंटे तक अपनी कक्षा में कैद रही।शिक्षक ताला बंद कर चले गये और बच्ची अंदर रह गई। बच्ची के परिजन उसे तलाशते रहे। शिक्षकों की इस लापरवाही को लेकर जौनपुर के बीएसए ने अब कड़ी कार्रवाई की है। इस मामले में स्कूल के प्रधानाध्यापक को निलंबित कर दिया गया है और जबकि पूरे स्टाफ का वेतन रोकने के आदेश दिये गये हैं।यह मामला जौनपुर के फत्तूपुर स्थित कंपोजिट विद्यालय का है। फत्तूपुर गांव निवासी जगदीश का एक पुत्र और एक पुत्री पास इसी कंपोजिट विद्यालय में पढ़ते हैं। जगदीश की छोटी बेटी प्रियंका (5) यहां कक्षा 1 की छात्रा है, जो अपने भाई के साथ अक्सर स्कूल जाती है। शुक्रवार की सुबह भाई-बहन के साथ प्रियंका स्कूल गई और जिस कक्षा में बैठती थी वहीं बैठी। इस दौरान उसे नींद आ गई और सो गई। करीब तीन बजे छुट्टी हुई तो सभी बच्चे स्कूल से घर चले गए। स्कूल के शिक्षक 5 साल की प्रियंका को स्कूल में ही बंद करके घर चले गए। करीब दो घंटे तक वह स्कूल में बंद रही। उसके रोने की आवाज सुनकर पहुंचे ग्रामीणों स्कूल पहुंचे और उन्होंने दरावाजा तोड़कर बच्ची को बाहर निकाला।शिक्षकों की इस लापरवाही से परिजन और ग्रामीण नाराज हैं। उन्होंने कार्रवाई की मांग की है।घटना की वीडियो सोशल मीडिया पर वायरल हुआ तो बीएसए ने जांच के लिए खंड शिक्षा अधिकारी को कहा। जांच के बाद अब BSA गोरखनाथ पटेल ने कम्पोजिट विद्यालय फत्तूपुर के प्रधानाध्यापक को निलंबित कर दिया। अगले आदेश तक स्कूल के सभी स्टाफ का वेतन रोक दिया है।बीएसए ने स्कूल के 7 सहायक अध्यापकों उपेन्द्र सिंह, सुनील चतुर्वेदी, उषा यादव, राजकेशर यादव, विपुल पाल, मनीष यादव, आसमा परवीन और एक शिक्षा मित्र सविता उपाध्याय का वेतन रोक दिया है।